भोपाल। मध्य प्रदेश बाल आयोग की टीम ने आज मदरसों का निरीक्षण किया। टीम सबसे पहले भोपाल के पांच नंबर स्थित माचना कॉलोनी में सिद्दीकिया दारुल उलूम मदरसा पहुंची। जहां टीम को शुक्रवाह होने की वजह से मदरसा (Madarasa) बंद मिला।

शुक्रवार को बंद मिला मदरसा

आयोग के सदस्य ओंकार सिंह के मुताबिक यहां सरकारी नियम के अनुसार रविवार को छुट्टी रहनी चाहिए। लेकिन, यहां शुक्रवार को छुट्टी रहती है जिसकी जांच करेंगे। उन्होंने कहा कि बाकी यहां सब ठीक है। वहीं डॉ. निवेदिता शर्मा ने कहा कि ये मदरसा रजिस्टर्ड है। मदरसों (Madarasa) का रजिस्ट्रेशन दो तरह से होता है। एक तरह के मदरसे वो होते हैं। जो शासकीय सहायता लेते हैं। जिनमें मिड डे मील के अलावा अन्य चीजों में सरकार सहायता करती है, जबकि ये मदरसा सिर्फ रजिस्टर्ड है।

हिंदी, इंग्लिश समेत सभी विषय पढ़ाए जाते हैं

वहीं, मदरसे के सदस्य मो. फैजान ने बताया कि आज शुक्रवार होने के कारण यहां छुट्टी है। मदरसे में रविवार को भी पढ़ाई होती है। यहां हिंदी, इंग्लिश, अरबी के साथ सभी विषय पढ़ाए जाते हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि शरीयत में जुमा एक बहुत बड़ा दिन होता है। बच्चे नमाज के साथ बाकी काम भी शुक्रवार को ही करते हैं।(Madarasa)

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विधायक ने जताई नाराजगी

मॉचना कॉलोनी स्थित मदरसे की जांच पर भोपाल उत्तर से विधायक आतिफ अकील ने नाराजगी व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि सरकार जब-जब भ्रष्टाचार में फंसती है उससे बचने के लिए ऐसे काम करने लगती है। हमारे यहां जैन संतों पर अत्याचार हुए। सरकार ने इस मामले में आज तक कुछ नहीं किया। जिस स्थान पर गरीब बच्चे पढ़ते हैं। वहां के प्रिंसिपल चंदा करके उनके खाने-पीने और रहने की व्यवस्था करते हैं। सरकार को शर्म आनी चाहिए। इन लोगों के दिमाग में जो वायरस घुसा है उसे निकालना चाहिए।