रायपुर। छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बयान पर सीएम विष्णुदेव साय के मीडिया सलाहकार पंकज झा ने करारा पटलवार किया है। उन्होंने ट्वीट कर कई व्यक्तिगत और राजनीतिक मुद्दों पर अपनी बात रखी और मुंहतोड़ जवाब दिया। झा ने कहा, वेतनभोगी होना शर्म की बात नहीं है, बल्कि यह भारत के लाखों लोगों की मेहनत और ईमानदारी से जुड़ा हुआ है। उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री बघेल के बयान को वेतनभोगियों का अपमान बताया है। (Raipur News)
ऐसे कैसे चलेगा दाऊ?
पंकज झा ने भूपेश बघले पर आरोप लगाते हुए कहा है कि उनके कार्यकाल में वेतनभोगियों और सरकारी सलाहकारों को राजनीतिक बयानबाजी की खुली छूट दी गई थी, अब भाजपा के सलाहकारों के बयान पर सवाल उठाए जा रहे हैं. ऐसे कैसे होगा दाऊ? खेल का नियम एक ही रखिए, तब खेलने में आनंद आएगा न? झा ने भारतीय संविधान के अनुच्छेद 19(1)(क) का हवाला देते हुए कहा कि एक नागरिक के रूप में उनके पास अपने विचार व्यक्त करने का अधिकार है। (Raipur News)
भूपेश ने झा पर साधा था निशाना
दरअसल, दो दिन पहले भूपेश बघेल ने पंकज झा पर निशाना साधते हुए कहा था कि इनके पास कोई काम नहीं है। जो सैलरी पर रखे गए हैं, वो ऐसी बातें फैला रहे हैं। बीजेपी में अशांति है। बीजेपी के तमाम बड़े नेता खाली बैठे हैं। प्रेम प्रकाश पांडे, बृजमोहन अग्रवाल, अमर अग्रवाल सब खाली बैठे हैं। ये कौन सलाहकार है, कहां का रहने वाला है? छत्तीसगढ़ की सरकार बिहार से चलेगी। बीजेपी में इतना राजनीतिक अकाल पड़ गया है? राजनीतिक बयान राजनीतिक दे तो कोई बात है, क्या बीजेपी में इतना अकाल पड़ गया कि विष्णुदेव साय के पक्ष में कोई बोलने वाला नहीं है। तनख्वाह में रखे गए लोग बोलेंगे।
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क्या आप मुसोलिनी के अवतार हैं?
एक्स पर भूपेश बघेल के नाम लिखे पत्र में पंकज झा ने लिखा कि आप विश्व के सार्वाधिक लोकप्रिय नेता, हमारे प्रधानमंत्री के बारे में अनाप-शनाप बोल सकते हैं, वह आपका राजनीतिक अधिकार है, लेकिन मैं एक ‘वेतन पर पलने वाला’ हो गया, जो एक साधारण ट्वीट भी नहीं कर सकता? क्या आप मुसोलिनी के अवतार हैं या इटली से इतना अधिक प्रभावित हैं? स्मरण कीजिए आप कि आपकी पार्टी और आप 5 वर्ष तक मुख्यमंत्री रहे व्यक्तित्व के बयानों पर कैसी प्रतिक्रिया देते थे, किस तरह जानबूझ कर अपने जिला स्तर के कार्यकर्ता का बयान पूर्व सीएम के विरुद्ध छपाते थे, ताकि वे अधिक से अधिक वे अपमानित महसूस करें। याद कीजिए अपने उस अपराध को, जब वर्तमान मुख्यमंत्री और सहज-सरल, सौम्य नेता, तब के प्रदेश भाजपा अध्यक्ष विष्णुदेव साय के खिलाफ आप किस तरह के बयान देते थे? याद दिलाएं आपको? आपने अपनी तुनकमिज़ाजी और पद के अहंकार में हमारे तब के प्रदेश अध्यक्ष साय को कहा था कि उनके दिमाग में गोबर भरा है, जिससे आपको बिजली बनाना है। एक राष्ट्रीय आदिवासी नेता जो अनेक बार सांसद, विधायक, केंद्रीय मंत्री, प्रदेश अध्यक्ष रहे हों, उनके ख़िलाफ क्या बिना वेतन पर पलते हुए ही आपने ऐसा असंसदीय विषवमन किया था क्या? आप सदन तक में ‘दो-गला’ जैसा अमर्यादित शब्द उच्चारित करते थे। अगर आपको याद हो, तो आपके और कांग्रेसियों के ऐसे सौ अपशब्दों की हमने सूची जारी की थी। वे सारे बयान क्या बिना ‘तनख्वाह पर पलते हुए ही’ दिया जा रहा था क्या?
देखें पंकज झा का पत्र…