भोपाल। इस वर्ष वैशाख शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि 10 मई के दिन समाप्त हो रही है। ऐसे में अक्षय तृतीया पर्व आज 10 मई 2024 शुक्रवार के दिन मनाया जा रहा है। इस दिन कई शुभ योग होने की वजह से इसे पूजा-पाठ के लिए सबसे उत्तम माना जाता है। अक्षय तृतीया पर मूल्यवान वस्तुओं की खरीदारी और दान-पुण्य के कार्य भी शुभ माने गए हैं। विशेषकर सोना खरीदना इस दिन सबसे ज्यादा शुभ होता है। इससे धन की प्राप्ती होती है।
पूरा दिन श्रेष्ठ
शुभ कार्यों के लिए अक्षय तृतीय को पूरा दिन श्रेष्ठ माना जाता है। अक्षय तृतीया के दिन बरगद के पेड़ के पास, घड़े एवं गुड्डे—गुड़ियों की पूजा का नियम है। बुंदेलखंड क्षेत्र में इस दिन परंपरागत नियमों के अनुसार ही पूजा की जाती है। इस दिन के लिए घरों में विशेष तैयारी होती है जो कई दिनों पहले से शुरू हो जाती है। वास्तु शास्त्र के अनुसार भी इस दिन कुछ नियमों का पालन करना चाहिए…
-कोई भी सूखा हुआ पौधा घटर में मौजूद न हो, इसका प्रभाव न केवल आर्थिक क्षेत्र पर बल्कि निजी जीवन पर भी पड़ता है और इसके कारण वास्तु दोष लगने का खतरा भी बना रहता है।
-जिस घर में मांगलिक कार्य होते हैं, वहां टूटी झाड़ू कभी नहीं होनी चाहिए। इससे नकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और माता लक्ष्मी क्रोधित होती हैं।
-घर से गंदे या फटे हुए कपड़ों को निकाल देना चाहिए। इसको भी अशुभ माना जाता है और इससे नकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
-ऐसी भी मान्यता है कि घर में टूटा शीशा, टूटे बर्तन, टूटा कांच और कांटेदार पौधे भी नहीं रखने चाहिए। इन्हें किसी भी शुभ कार्य के लिए उचित नही माना गया और इससे नकारात्मकता बढ़ती है।