उज्जैन। दुनिया भर में मनाए जाने वाले होली के त्यौहार की शुरुआत धार्मिक नगरी उज्जैन से हो गई है। यहाँ सबसे पहले होली के त्यौहार शुरुआत विश्वप्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर से हुई। बाबा महाकाल के दरबार में होली का उत्सव मनाया गया। यहाँ आज सुबह भस्मारती में पण्डे पुजारियों ने महाकाल के साथ होली खेली। हजारो की संख्या में भक्तो ने भक्ति में लीन होकर फूलों के साथ होली मनाई। महाराष्ट्र के भक्त द्वारा बाबा महाकाल को 51 क्विंटल फूल अर्पित किए गए फिर उन्ही फूलों से होली खेली गई।

देश भर में कल होली का त्यौहार मनाया जाएगा परन्तु उज्जैन के महाकाल मंदिर में होली के त्योहार की शुरुआत एक दिन पहले ही हो गई है। यहाँ परंपरा अनुसार भस्मारती में बाबा महाकाल को रंग लगाया गया। श्रद्धालु और पण्डे पुजारियों ने भक्ति में लीन होकर फूलों के साथ होली खेली। आज संध्या आरती के बाद मंदिर परिसर में मंत्रोचारण के साथ होलिका दहन किया जाएगा। देश विदेश से कई भक्त उज्जैन में मनाई जाने वाली इस होली को देखने के लिए आते हैं।


 
भस्मारती के बाद खेली गई होली
आज भस्मआरती के समय बाबा के भक्तों पर भी होली का रंग खूब चढ़ता है क्या बच्चे क्या बड़े सभी बाबा महाकाल के रंग में रंग जाते है। महाकाल मंदिर में एक दिन पहले होली का पर्व मानाने की परंपरा आदि अनादिकाल से चली आ रही है। महाराष्ट्र के नांदेड़ से आए भक्त केशव मालेवार ने बाबा महाकाल को 51 क्विंटल फूल अर्पित किए । इन्हीं फूलों से होली खेली गई।